
अमर क्रांतिकारी राजा शंकरशाह और कुंवर रघुनाथ शाह के बलिदान को भुलाया नहीं जा सकताः मुख्यमंत्री
Bhopal , 18 सितंबर . Chief Minister शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि आगामी 5 अक्टूबर को रानी दुर्गावती के 500 वें जन्मदिवस पर मदन महल की जमीन पर 100 करोड़ रुपये की लागत से भव्य स्मारक का भूमि-पूजन किया जायेगा. यह भव्य स्मारक रानी दुर्गावती के शौर्य, वीरता, सेवा, सुशासन एवं गौरव का प्रतीक होगा तथा युगों-युगों तक रानी की स्मृति को जीवन्त रखेगा.
Chief Minister चौहान Monday को Jabalpurप्रवास के दौरान वेटनरी ग्राउंड में आयोजित 1857 की क्रान्ति के जनजातीय नायक राजा शंकरशाह और उनके पुत्र कुंवर रघुनाथ शाह के बलिदान दिवस पर संबोधित कर रहे थे. कार्यक्रम में Chief Minister का स्वागत जनजातीय संस्कृति के प्रतीक वीरा और साफा पहनाकर किया गया.
Chief Minister ने कहा कि अमर क्रांतिकारी राजा शंकरशाह और उनके पुत्र कुंवर रघुनाथ शाह ने अंग्रेजों की गुलामी को स्वीकार नहीं किया और उनके खिलाफ संघर्ष का बिगुल फूंका. उनके इसी शौर्य एवं पराक्रम से भयभीत होकर अंग्रेजों ने उन्हें तोप के मुंह के सामने रखकर उड़ा दिया. राजा शंकरशाह और उनके पुत्र कुंवर रघुनाथ शाह के बलिदानों को भुलाया नहीं जा सकता. ये वीर सदैव हमारे लिये प्रेरणा का स्त्रोत रहेंगे.
उन्होंने कहा कि जनजातीय नायकों के बलिदानों को स्मरण करने के लिये प्रतिवर्ष प्रदेश शासन द्वारा 18 सितम्बर को शहीद दिवस का आयोजन किया जा रहा है. उन्होंने बताया कि पूर्व वर्ष में केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह के आतिथ्य में Jabalpurमें ही आयोजित हुये शहीद दिवस कार्यक्रम में गरीब आदिवासी वर्ग के लिये की गई सभी 14 घोषणाएं पूर्ण कर ली गई है. इन घोषणाओं के पूर्ण हो जाने से प्रदेश के आदिवासी भाई-बहन समाज के मुख्य धारा से जुड़ रहे है तथा इनका सामाजिक एवं आर्थिक सशक्तिकरण हो रहा है.
Chief Minister ने गोंड साम्राज्य की शासिका वीरांगना रानी दुर्गावती के शौर्य गाथा का उल्लेख करते हुये बताया कि रानी दुर्गावती ने अपने शौर्य और सामर्थ्य से एक विशाल साम्राज्य की स्थापना की थी, जिसमें मदन-महल, गढ़ा मंडला, सिंग्रामपुर शामिल है. उन्होनें मुगल शासक अकबर से भी वीरतापूर्वक लड़ाई लड़ी और अपने प्राणों की आहूति दी, पर मुगलों की अधीनता स्वीकार नहीं की.
पेसा अधिनियम से आदिवासियों को मिला जल, जंगल, जमीन पर अधिकार
उन्होंने कहा कि आदिवासी बंधुओं के कल्याण के लिये प्रदेश सरकार ने विभिन्न योजनाएं संचालित की हैं. सरकार ने पेसा अधिनियम लागू कर प्रदेश के 89 जनजातीय विकासखंडों में जनजातियों को जल, जंगल, जमीन पर सशक्त अधिकार दिये हैं. इन विकासखंडों में जनजातीय भाई-बहनों ने तेंदूपत्ता संग्रहण में उल्लेखनीय कार्य किया है. उनकी आर्थिक स्थति सुदृढ़ हुई है. सरकार की प्राथमिकता है कि संसाधनों पर सभी का समान रूप से अधिकार हो. अब सरकारी स्कूलों के बच्चे भी मेडिकल की पढ़ाई कर सके इसलिये सरकार द्वारा पांच प्रतिशत सीटें सरकारी स्कूल के बच्चों के लिये आरक्षित की गई है. उन्होंने बताया कि बच्चों को प्रोत्साहित करने के लिये 75 प्रतिशत से अधिक अंक लाने वाले बच्चों को लेपटॉप, शासकीय स्कूलों से प्रथम श्रेणी के साथ बारहवीं कक्षा में टॉप करने वाले बच्चों को स्कूटी दी गई है.
Chief Minister ने कहा कि Chief Minister लाड़ली बहना योजना प्रारंभ कर प्रदेश की महिलाओं को मान सम्मान देने का कार्य भी प्रदेश सरकार द्वारा किया गया है. अब Chief Minister लाडली बहना आवास योजना के माध्यम से कच्चे आवास में रहने वाली लाडली बहना को पक्के आवास बनाने के लिये राशि प्रदान की जायेगी. इसके फार्म भरना प्रारंभ हो चुके हैं. प्रधानमंत्री उज्जवला योजना की हितग्राही एवं लाडली बहना को अब 450 रुपये की रियायती दरों में रसोई गैस सिलेंडर दिये जायेंगे. उन्होंने बताया कि प्रदेश के गरीब परिवारों के 1 किलोवाट तक के बकाया बिजली बिल सरकार द्वारा भरा जायेगा. राजा शंकरशाह एवं कुंवर रघुनाथ शाह के आदर्श को अपनाकर प्रदेश में जनता की जिंदगी बदलने का अभियान लगातार चलता रहेगा.
कार्यक्रम में विधायकगण अशोक रोहाणी, अजय विश्नोई, सुशील इंदु तिवारी, नंदिनी मरावी, Madhya Pradesh जन अभियान परिषद के उपाध्यक्ष डॉ. जितेन्द्र जामदार, पूर्व विधायक अंचल सोनकर, शरद जैन, पूर्व महापौर स्वाति सदानंद गोडबोले सहित बड़ी तादाद में जन समूह मौजूद रहा. कार्यक्रम में स्वागत उद्बोधन जिला पंचायत अध्यक्ष संतोष वरकड़े ने दिया. विधायक अशोक रोहाणी ने आभार प्रदर्शन द्वारा किया गया.
