रांची (Ranchi) . पेट्रोल, डीजल और रसोई गैस की बढ़ती कीमत और आवश्यक वस्तुओं के दामों में बढ़ोत्तरी के खिलाफ कांग्रेस ने राज्यव्यापी आंदोलन का निर्णय लिया है. चरणबद्ध आंदोलन के क्रम में पार्टी की ओर से 25 फरवरी को सभी जिला मुख्यालयों में प्रेस कांफ्रेंस आयोजित कर केन्द्र सरकार की जन विरोधी नीतियों का पर्दाफाश किया जाएगा, जबकि 26 फरवरी को सभी जिला मुख्यालयों पर मशाल जुलूस निकाला जाएगा और 27 फरवरी को जिला मुख्यालयों पर तथा राज्य स्तरीय धरना दिया जाएगा. कांग्रेस ने कहा कि ’ईंधन-टैक्स-जीवी’ मोदी सरकार देश की जनता के लिए अभिशाप बन गई है. ’पेट्रोल-डीजल टैक्स जीवी’ मोदी सरकार देश की जनता के लिए अब एक भयभीत करने वाले भूत की तरह है. बीजेपी का नया नाम बन गया है – “भयंकर जनलूट पार्टी“.
प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डॉ रामेश्वर उरांव ने कहा कि कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने भी पेट्रोलियम पदार्थों की कीमतों में बढ़ोत्तरी पर चिंता जतायी है और उनके मार्गनिर्देशन में देशभर में पार्टी कार्यकर्त्ता मूल्य वृद्धि के खिलाफ सड़क पर उतर कर आंदोलन कर रहे है. उन्होंने कहा कि केंद्रीय वित्तमंत्री निर्मला सीतारमण का यह बयान हास्यास्पद है कि पेट्रोल-डीजल और रसोई गैस की बढ़ती कीमत पर अंकुश लगा पाना अब केंद्र सरकार (Central Government)के हाथों में नहीं है, बल्कि पेट्रोलियम कंपनियों की है. डा उराँव ने कहा कि केन्द्र सरकार की गलत नीतियों के खिलाफ अब आम जनता को भी सड़क पर उतरने की जरुरत है, पार्टी इसे लेकर जन जागरूकता अभियान भी चलाएगी. उन्होंने कहा कि सच्चाई यह है कि कच्चे तेल का घरेलू उत्पादन करने वाली सरकारी कंपनी ओरएनजीसी का बजट ही मोदी सरकार ने काट दिया. जबकि साल 2020-21 में ओरएनजीसी का बजट 32,501 करोड़ था, इस साल कम करके 29,800 करोड़ कर दिया है.
विधायक दल नेता आलमगीर आलम ने कहा कि कोरोना संक्रमण से लेकर अब तक कच्चे तेल की कीमत अंतरराष्ट्रीय बाजार में काफी निचले स्तर पर है, इसके बावजूद इसका फायदा आम जनता को मिलने की जगह कॉरपोरेट घरानों और तेल कंपनियों को मिल रहा है. सरकार लगातार एक्साइज ड्यूटी में बढ़ोत्तरी करते जा रही है.
कृषिमंत्री बादल ने कहा कि एक ओर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Prime Minister Narendra Modi) कहते है पिछली सरकारों ने कच्चे तेल का घरेलू उत्पादन नहीं किया, पर आंकड़े कहते है उनकी कंपनियों के- घरेलू कच्चे तेल का उत्पादन बीजेपी सरकार में सालाना 53,66,000 मीट्रिक टन गिरा.
स्वास्थ्य मंत्री बन्ना गुप्ता ने कहा कि साल 2020 में घरेलू कच्चे तेल का उत्पादन पिछले 18 साल में सबसे कम है. मई 2014 से आज से जनवरी 2021 तक की मोदी सरकार ने पेट्रोल-डीजल पर टैक्स लगाकर जनता की जेब से 21 लाख, 50 हजार करोड़ (21,50,00,000 करोड़) कमाए हैं.
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता आलोक कुमार दूबे ने कहा कि वर्ष 2014 के पहले जब पेट्रोल-डीजल की कीमत में 10 पैसे की भी वृद्धि होती थी, तो भाजपा नेता सड़क पर उतर कर हुल्लड़ मचाना शुरू कर देते थे, लेकिन अब जब लगातार पेट्रोलियम पदार्थों की कीमत में बढ़ोत्तरी हो रही है, तो भाजपा नेताओं का मुंह पर ताला लग गया है.
प्रवक्ता लाल किशोर नाथ शाहदेव ने कहा कि पिछले 15 दिनों से लगातार पेट्रोल-डीजल की कीमत में बढ़ोत्तरी हो रही है और किसी दिन तेल की कीमत नहीं बढ़ती है, तो कॉरपोरेट घारानों, तेल कंपनियों और भाजपा नेताओं को यह चिंता सताने लगती है कि आज तेल की कीमत में बढ़ोत्तरी नहीं होने से उनका कितना नुकसान हो गया.
प्रवक्ता डा राजेश गुप्ता छोटू ने कहा कि पेट्रोल-डीजल की कीमत में बढ़ोत्तरी से आवश्यक कीमतों में भी लगातार बढ़ोत्तरी होते जा रही है. सरसो तेल की कीमत भी रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गयी है,चावल,दाल समेत सभी आवश्यक वस्तुओं की कीमत आम आदमी के पहुंच से दूर होते जा रही है.